अगर आपको भी लगती है ज्यादा प्यास तो जान ले बातें ,होतें है ये संकेत

प्यास लगना सामान्य शारीरिक प्रक्रिया है. शरीर में जैसे ही पानी का स्तर कम होता है तो प्यार महसूस होने लगती है. निश्चित मात्रा में पानी पीने पर प्यार बुझ जाती है, लेकिन अगर पानी पीने के बाद भी प्यास न बूझे व सामान्य से ज्यादा प्यास लग रही हो तो यह स्वास्थ्य संबंधी समस्या की व संकेत है. अत्यधिक प्यास एक ऐसी स्थिति है जब अत्यधिक पेशाब, दस्त, उल्टी व पसीने के माध्यम से शरीर से बड़ी मात्रा में पानी खो देते हैं.
जब ब्लड शुगर का स्तर असामान्य होता है, जैसा कि डायबिटीज के मुद्दे में जब किडनी शुगर की अधिकता से निपटने में असमर्थ होती है. जब यह होता है, तो शरीर में पानी की अधिक मात्रा को हटाते हुए भी शुगर मूत्र में प्रवेश करती है. इसकी वजह से शरीर पानी की कमी की स्थिति में रहता है जो स्थिति से जूझ रहे लोगों में अत्यधिक प्यास का कारण बनता है. इसलिए अत्यधिक प्यास के मुख्य कारणों में से एक अनडाइग्नोज टाइप 1 डायबिटीज होने कि सम्भावना है.


कई बीमारियां हैं जो डिहाइड्रेशन का कारण बन सकती है  से जुड़ीं डाक्टर आकांक्षा मिश्रा का बोलना है कि डिहाइड्रेशन एक ऐसी स्थिति है, जब शरीर से निकलने वाले पानी की मात्रा शरीर में उपस्थित पानी की मात्रा से ज्यादा हो जाती है. यह स्थिति शरीर को पानी की कमी की ओर ले जाती है. कुछ प्रमुख बीमारियों में फूड पॉइजनिंग के साथ-साथ अन्य डायरिया संबंधी बीमारियां, हीट एग्जॉशन, इन्फेक्शन शामिल हैं जो बुखार व जलन पैदा करते हैं. जब शरीर से पानी निकलना प्रारम्भ हो जाता है, तो शुष्क मुंह, थकान व अत्यधिक प्यास जैसे लक्षण अनुभव हो सकते हैं. इसके अलावा, गंभीर डिहाइड्रेशन के मुद्दे में मतली व उल्टी भी हो सकती है. यदि कोई अपने मुंह के जरिए तरल पदार्थ लेने में सक्षम नहीं है, तो नसों के जरिए तरल पदार्थ देने की जरूरत हो सकती है.



से जुड़े एम्स के डाक्टर उमर अफरोज का बोलना है कि एंग्जाइटी के अन्य लक्षणों में से एक है शुष्क मुंह यानी मुंह का सूखापन. जब आदमी किसी वस्तु के बारे में चिंतित होता है, तो मुंह सूखने लगता है व वह वास्तव में प्यास की तरह महसूस कर सकता है. चिंता यानी एंग्जाइटी मुंह से पानी निकाल लेती है व इसे शरीर के अन्य क्षेत्रों में भेज सकती है. यह पेट में एसिड को भी बढ़ा सकता है, जो बाद में लार की कमी का कारण बन सकता है. यदि चिंतित महसूस कर रहे हैं, तो यह बीमार भी महसूस कर सकता है.



अत्यधिक गर्म व आर्द्र वाली परिस्थितियों में अत्यधिक पसीना आना प्यास का कारण बन सकता है. अत्यधिक पानी पीना जो अत्यधिक पसीना, दस्त या यहां तक कि उल्टी का कारण बनता है, महत्वपूर्ण नहीं कि अत्यधिक पेशाब से जुड़ा हो, जैसा कि पॉलीडिप्सिया यानी अत्यधिक मात्रा में प्यास लगने के अन्य कारणों के साथ होता है.



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